रुड़की। ( आयुष गुप्ता )
राजकीय सिंचाई उद्योशाला कर्मचारी ट्रेड यूनियन के नेतृत्व में भगवान श्री विश्वकर्मा महाराज की पूजा अर्चना बड़े धूमधाम से सिंचाई कार्यशाला के मंदिर के प्रांगण में की गई। विश्वकर्मा महाराज की पूजा आचार्य शरणानंद सेमवाल द्वारा की गई। देवी-देवताओं की विधि विधान से पूजा अर्चना करने पर आचार्य ने बताया कि जब तक श्री विश्वकर्मा महाराज के दोनों पुत्रों की पूजा नहीं होती, तब तक यह पूजा संपन्न नहीं होती। उन्होंने बताया कि महाराज विश्वकर्मा के 2 पुत्र थे जिनका नाम था नल और नील। उन्हें किन्ही ऋषि मुनी का श्राप था कि तुम जिस चीज को भी समुद्र में या पानी पर डाल दोगे, वह उसके ऊपर तैर जाएगी डूबेगी नहीं। उनका यह श्राप भगवान श्री राम के समुद्र को पार कर लंका जाने के लिए पुल बनाने के समय लाभकारी साबित हुआ। इस अवसर पर सिंचाई विभाग उत्तराखंड के मुख्य अभियंता (यान्त्रिक) डी.एस. सन्वाल, अधीक्षण अभियंता नलकूप मंडल रुड़की संजय कुशवाहा, सिंचाई कार्यशाला के अधिशासी अभियंता सुरेश पाल, स्थापना खण्ड की अधिशासी अभियंता श्रीमती ऋतिका पाल, ट्रेड यूनियन के महामंत्री अरविंद राजपूत, सहायक अभियंता संजय बहुगुणा, गैरोला, प्रशांत कुमार, मुख्य प्रशासनिक अधिकारी मनोहर कुमार मिश्रा, मुख्य प्रशासनिक अधिकारी राजीव जौहरी, भूल सिंह, इंद्रपाल शर्मा, संजय कश्यप, परवीन कुमार, कनिष्ठ अभियंता डीगाराम सैनी, सोनू, नीटू सिंह, प्रियंका सैनी, जितेंद्र रावत, दीपक कुमार, प्रदीप चौहान, हिमांशु गोयल, सुनील अग्रवाल, निरंजन कुमार, हरिशंकर उपाध्याय, मनोज कुमार, तेजपाल गिरी, बचन सिंह, कुंवरपाल, हुकम चंद, राजेंद्र कुमार, विनोद कुमार, कृष्ण कुमार, संजय कुमार आदि बडी़ संख्या में अधिकारी व कर्मचारियों ने पूजा अर्चना में भाग लिया।

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