रुड़की। ( बबलू सैनी ) रुड़की शहर के साथ ही देहात क्षेत्र में भी पेट्रोल पंपों पर तेल लेने के लिए ग्राहकों की भारी भीड़ लगी हुई हैं। पेट्रोल पंप स्वामी तेल की कमी क्यों बता रहे हैं, इसके पीछे क्या कारण हैं? शासन-प्रशासन भी इस ओर कोई ध्यान नहीं दे रहा हैं। आजकल भारी गर्मी पड़ रही हैं और पारा 45 डिग्री के आस-पास जा रहा हैं। इसके बावजूद भी वाहन चालक कई-कई घंटे लाईन में लगकर अपनी बारी का इंतजार करते देखे जा रहे हैं। तेल देने के लिए पेट्रोल पंप स्वामी मनमानी कर रहे हैं और एक लीटर से अधिक नहीं दे रहे हैं। इसके पीछे कारण यह बताया जा रहा है कि रुस-यूक्रेन के बीच जो युद्ध चल रहा हैं, इसे देखते हुए सभी पेट्रोल पंप के मालिकों द्वारा तेल की कमी न हो, इसके लिए भारी स्टॉक किया गया था। लेकिन देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा तेल की पूर्ति रुस से पहले ही की जा चुकी थी। ताकि देश में तेल की कमी न आये। वहीं पेट्रोल पंप मालिक यह मान बैठे कि तेल और महंगा होगा, लेकिन पीएम मोदी ने छक्का मारते हुए पिछले दिनों पेट्रोल की कीमतें साढ़े नौ रुपये व डीजल साढे सात रुपये प्रति लीटर कम कर दिया था। जिससे पेट्रोल पंप मालिक अपने को ठगा सा महसूस कर रहे थे। सरकार के इस आदेश का पालन करना भी उनके लिए जरूरी था। इस घाटे की पूर्ति कैसे हो? इसके लिए पेट्रोल पंप स्वामी एकत्र होकर गुणा-भाग कर रहे थे। आज सोमवार को सुबह ही इस घटना से पर्दा उठ गया। सभी पेट्रोल पंपों पर तेल देने से मना किया जाने लगा। जिसे लेकर आम जनता व ग्राहकों में अफरा-तफरी मची हुई हैं और देखते ही देखते पेट्रोल पंपों पर लोगों की भीड़ जमा होने लगी। वहीं पेट्रोल पंप मालिक अपनी मर्जी से कम तेल की बिक्री कर रहे हैं। इस संबंध में स्थानीय जनप्रतिनिधियों द्वारा जेएम रुड़की अंशुल सिंह व एएसडीएम विजयनाथ शुक्ल को भी अवगत कराया गया। लेकिन उनके द्वारा अभी तक पेट्रोल पंप मालिकों के खिलाफ कोई एक्शन नहीं लिया गया। जिसे लेकर ग्राहकों में भी भारी नाराजगी हैं। जबकि तेल की देश में कोई कमी नहीं हैं। इसके बावजूद भी पेट्रोल पंप मालिक आम आदमी के लिए जान-बूझकर परेशानी खड़ी कर रहे हैं। शासन- प्रशासन को इस ओर कठोर कदम उठाने चाहिए ताकि आम जनता को राहत मिल सके। वहीं इस संबंध में स्थानीय जनप्रतिनिधियों ने प्रदेश के मुख्यमंत्री को शिकायत कर मनमानी करने वाले पेट्रोल पंप मालिकों के लाईसेंस तत्काल प्रभाव से निरस्त करने की मांग की।